संसद के समक्ष भारत के राष्ट्रपति का अभिभाषण
माननीय सदस्यगण,
1. नवजीवन और विकास लाने वाले बसंत के इस मौसम में,संसद के दोनों सदनों की संयुक्त बैठक में आपका स्वागत है। मुझे विश्वास है कि यहां पर होने वाली चर्चा उस भरोसे पर खरी उतरेगी,जो हमारे नागरिकों ने हमारे प्रति जताया है। इस पथ पर आगे बढ़ते हुए अपने गौरवशाली देश के विकास और प्रगति में हम सभी बराबर के भागीदार बनेंगे।