लिस्बन नगर परिषद में स्वागत समारोह में भारत की राष्ट्रपति श्रीमती द्रौपदी मुर्मु का भाषण (HINDI)
लिस्बन : 08.04.2025
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(90.75 KB)पुर्तगाल की अपनी पहली राजकीय यात्रा पर, सात पहाड़ियों पर बसे, और Tagus नदी से घिरे, खूबसूरत लिस्बन शहर में आकर मुझे बेहद खुशी हो रही है।
मैं लिस्बन के महामहिम मेयर का और लिस्बन शहर के लोगों का हृदय से धन्यवाद करती हूं, जिन्होंने मुझे आप में से एक, ‘लिस्बोएटा’ बनाकर, मेरा स्वागत किया और मुझे सम्मानित किया!
पुर्तगाल एक ऐसा देश है, जिसके साथ हमारे ऐतिहासिक और घनिष्ठ सांस्कृतिक संबंध रहे हैं। भारत और पुर्तगाल के बीच सांस्कृतिक संबंध सदियों से चले आ रहे हैं, और इन्होंने हमारे रोज़मर्रा के जीवन पर अमिट छाप छोड़ी है। भारत में, हमारे साझा अतीत के चिह्न हर जगह मौजूद हैं, चाहे वह वास्तुकला और ऐतिहासिक चर्चों की विरासत हो, स्वादिष्ट और लोकप्रिय व्यंजन हो, Portuguese और भारतीय भाषाओं से लिए गए शब्दों में हो, या Portuguese सड़कों के नामों में हो - ये सब हमारे दीर्घकालिक सांस्कृतिक संबंधों की एक झलक दिखलाते हैं। पुर्तगाल में भी, भारतीय कला, संस्कृति, भोजन, Yoga और आयुर्वेद की व्यापक लोकप्रियता से इस मजबूत सांस्कृतिक संबंधों का पता चलता है।
1982 में, लिस्बन के तत्कालीन मेयर ने जमीन उपलब्ध कराकर, राधा कृष्ण मंदिर की स्थापना संभव कराई थी। यह मंदिर भारतीय समुदाय के सामाजिक- सांस्कृतिक जीवन का केन्द्र बिन्दु बन गया है। यह लिस्बन में सबसे बड़ा COVID टीकाकरण केंद्र बना, जो अब immigrants के regularization के लिए सरकारी केंद्र के रूप में कार्य कर रहा है।
भारतीय प्रवासी या इंडो-पुर्तगाली समुदाय, भारत और पुर्तगाल के बीच ऐतिहासिक और स्थायी सांस्कृतिक संबंधों की एक महत्वपूर्ण कड़ी हैं। वे वास्तव में हमारे संबंधों की आधारशिला हैं, और पुर्तगाल के समाज और अर्थव्यवस्था में अपना बहुमूल्य योगदान दे रहे हैं। पुर्तगाल में भारतीय नागरिक चौथे सबसे बड़े समुदाय का प्रतिनिधित्व करते हैं, जिनमें से अधिकांश लिस्बन में केंद्रित हैं।
देवियो और सज्जनो,
भारत और पुर्तगाल के बीच ऐतिहासिक संबंध, एक बहुआयामी और गतिशील साझेदारी के रूप में विकसित होते रहे हैं। अंतर्राष्ट्रीय मामलों में जिम्मेदारी की साझा भावना, हमें क्षेत्रीय और बहुपक्षीय मंचों पर सहज साझेदार भी बनाती है। पुर्तगाल European Union और Lusophone देशों के साथ हमारे संबंधों को बढ़ावा देने में भारत का एक महत्वपूर्ण partner रहा है।
देवियो और सज्जनो,
हम 2047 तक भारत को एक विकसित देश, ‘विकसित भारत’ बनाने के लिए काम कर रहे हैं, जो एक समृद्ध, समावेशी और विकसित समाज होगा, जिसका मानव-केंद्रित दृष्टिकोण होगा। भारत आज भी मानता है कि ‘वसुधैव कुटुम्बकम’ – ‘संपूर्ण पृथ्वी एक परिवार है’। हम विश्व के समृद्ध भविष्य को सुनिश्चित करने की दिशा में अपना योगदान जारी रखेंगे। इन प्रयासों में, हम पुर्तगाल को एक विश्वसनीय मित्र और साझेदार के रूप में देखते हैं।
लिस्बन सहिष्णुता और विविधता के प्रति सम्मान के साथ-साथ, विश्व में अपने खुले विचारों, लोगों के अपनेपन और अपनी संस्कृति के लिए जाना जाता है। लिस्बन एक global city है जो तकनीकी परिवर्तन, innovation, digital public infrastructure और digital transition के मामले में अग्रणी है। यह दुनिया के सबसे बड़े अंतर्राष्ट्रीय प्रौद्योगिकी सम्मेलन, Web Summit, का मेजबान है। ये ऐसे क्षेत्र हैं जिनमें भारत और पुर्तगाल आगे भी सहयोग कर सकते हैं।
देवियो और सज्जनो,
इस वर्ष भारत और पुर्तगाल अपने राजनयिक संबंधों की स्वर्ण जयंती मना रहे हैं। मुझे पूरा विश्वास है कि हमारा ऐतिहासिक सहयोग, एक गतिशील और बहुमुखी partnership बनने की दिशा में दृढ़ता से आगे बढ़ रहा है।
मैं एक बार फिर, महामहिम मेयर और Lisbon के मेरे साथियों का धन्यवाद करती हूँ कि उन्होंने इतनी गर्मजोशी से हमारा आदर-सत्कार किया।
धन्यवाद!

 
		                      
					 
                                 
                                 
                                 
								 
                                